सांसद सिंधिया की सरकार बनाने में जुटे जनपद अध्यक्ष, पार्टी प्रत्याशी पर फैसला हाईकमान का निर्णय
शिवपुरी- मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में इस बार मप्र चुनाव अभियान समिति के चेयरमैन और पूर्व केन्द्रीय मंत्री एवं सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार बने इसके लिए ही हम पार्टी के दिशा निर्देशानुसार कार्य कर रहे है बात जहंा तक मेरे पोहरी क्षेत्र से पार्टी नेतृत्व की है तो मेरा यही कहना है कि मैं कांग्रेस पार्टी प्रत्याशी नहीं लेकिन कांग्रेस पार्टी का कर्मठ कार्यकर्ता जरूर हंूॅ और पुरजोर ताकत के साथ इस बार मप्र में सांसद सिंधिया की सरकार बनाने ही हम सभी कार्यकर्ताओं का एक लक्ष्य है। उक्त बात एक अनौपचारिक चर्चा में कही जनपद अध्यक्ष शिवपुरी पारम सिंह रावत ने जिन्होंने भले ही अपनी उम्मीदवारी पोहरी विधानसभा से जताई हो बाबजूद इसके वह अपने इस निर्णय को पार्टी हाईकमान पर निर्भर करते हुए छोड़ते है कि यदि पार्टी उन्हें यहां से चुनाव लड़ाएगी तो वह पार्टी के निर्देशन में चुनाव लड़ेंगें बाबजूद इसके वह चुनाव में टिकिट ना भी मिले तो जिस भी उम्मीदवार को मिलेगा उसे विजयश्री दिलाकर सांसद सिंधिया की सरकार बनाने में अहम भूमिका निभाऐंगें।
पहले जनपद अध्यक्ष जो पूरे दिन अपने कार्यालय में करते है जन की सुनवाई
्रयहां बताना होगा कि जनपद अध्यक्ष शिवपुरी पारम सिंह रावत एक ऐसे जनप्रतिनिधि है जो अपने कार्यकाल में जनपद अध्यक्ष बनने के बाद से अब तक लगातार नियमित रूप से अपने जिला मुख्यालय स्थित जनपद कार्यालय में निर्धारित शासकीय समय अनुसार बैठते है और यहां बैठकर वह दूर-दराज से आने वाले ग्रामीण अंचलों के नागरिकों की ना केवल जन की समस्याऐं सुनते है बल्कि उनका उचित निराकरण भी मौके पर किया जाता है। ऐसे में गामीणों का कहना है जो जनप्रतिनिधि एक छोटे से पद जनपद अध्यक्ष के नाते इतनी शिददत के साथ अपने कर्तव्य का निर्वहन कर रहा है यदि वह पोहरी विधानसभा से दावेदार बनकर क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करेगा तो संभव है आने वाले समय में क्षेत्र का विकास ही नहीं बल्कि क्षेत्रवासियों की समस्याऐं भी दूर होंगी। हालांकि ग्रामीणों की मंशा तो यही है बाबजूद इसके स्वयं जनपद अध्यक्ष अपनी इस दावेदारी को एक कार्यकर्ता की भांति मानते है और अब उन्हें टिकिट मिले या ना मिले यह सांसद सिंधिया व हाईकमान पर छोड़ दिया है।
पोहरी में दावेदारों कम नहीं लेकिन कर्मठ कार्यकर्ता की रही है कमी
ऐसा नहीं है कि पोहरी विधानसभा क्षेत्र में उम्मीदवारों की कोई कमी हो बल्कि यहां तो कई दावेदार अपनी पुरजोर दावेदारी करते हुए नजर आ रहे है। इनमें पूर्व विधायक हरिबल्लभ शुक्ला, सुरेश रांठखेड़ा, राजेन्द्र पिपलौदा, प्रधुम्न वर्मा, एड.आनंद धाकड़ सहित अन्य लोग भी शामिल है जो पोहरी में जनप्रतिनिधि के रूप में विधानसभा के सपने देख रहे है बाबजूद इसके पोहरी में यदि कोई कमी है तो वह कर्मठ कार्यकर्ता की ही है जहां इस कमी को दूर करने की किसी को फिक्र नहीं लेकिन हर कोई जनता का सिरमौर बनना चाहता है। कर्मठता की बात यदि की जाए तो जनपद अध्यक्ष पारम सिंह के कार्यकाल से की जाए कि उन्होंने पूरे समय अपने जनपदीय कार्यकाल में पूरा समय क्षेत्रीय लोगों को दिया जिन्होंने उसे इस पद तक पहुंचाया। ऐसे में अब पोहरी में कब कर्मठ कार्यकर्ता होंगें यह तो नहीं कहा जा सकता लेकिन चुनाव में अपनी कर्मठता दिखाने का हर किसी में दम है अब देखना होगा पार्टी इनमें से किसे इसका प्रतिफल देकर चुनावी उम्मीदवार बनाती है।
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