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Monday, March 15, 2021

विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस पर शक्तिशाली महिला संगठन ने जागरुकता कार्यक्रम आयोजित किया


हर एक उपभोक्ता अपने अधिकारों के प्रति सजग हो और जागरूक रहे: कंचन गौड़ ,प्रशासक वन स्टोप सेन्टर शिवपुरी

शिवपुरी। विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस प्रत्येक वर्ष 15 मार्च को विश्व स्तर पर मनाया जाता है। यह उपभोक्ता अधिकारों और जरूरतों के बारे में वैश्विक जागरूकता बढ़ाने का दिन है।  विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस राष्ट्रपति जॉन एफ कैनेडी से प्रेरित है,जिन्होंने 15 मार्च 1962 को अमेरिकी कांग्रेस को एक विशेष संदेश भेजा था जिसमें उन्होंने औपचारिक रूप से उपभोक्ता अधिकारों के मुद्दे को संबोधित किया था। ऐसा करने वाले वह पहले विश्व नेता थे। उपभोक्ता आंदोलन ने पहली बार 1983 में उस तारीख को चिह्नित किया  इस अवसर पर स्वयं सेवी संस्था शक्तिशाली महिला संगठन शिवपुरी द्वारा वन स्टोप सेन्टर पर आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, सुपोषण सखी, आशा एवं सहायिकाओं को उपभोक्ता अधिकार के बारे में जागरुक करने के लिए कार्यक्रम आयोजित किया

 जिसकी मुख्य अतिथि वन स्टोप सेन्टर शिवपुरी की प्रशासक कंचन गौड़ ने आधा सैकड़ा मैदानी अमले को अपने संबोधन में कहा कि हर एक उपभोक्ता अपने अधिकारों के प्रति सजग हो और जागरुक रहें प्रत्येक उपभोग की सामग्री का बिल अवश्य लें और अगर गुणवत्ता में कोई भी कमी हो तो इसके लिए अपनी आवाज उठाए। कार्यक्रम के बारे में अधिक जानकारी देतु हुए कार्यक्रम संयोजक रवि गोयल, शक्तिशाली महिला संगठन ने अधिक जानकारी देतु हुए बताया कि केंद्र सरकार ने जुलाई 2019 में कंज्यूमर प्रोटेक्शन एक्ट 2019 के तहत नए ई.कॉमर्स नियम लागू कर दिए हैं दरअसल यह बदलाव तेजी से बढ़े आन लाईन शाॅपिंग के चलन के कारण किए गए है।

 क्योंकि इनमें कई मामलों में बड़े पैमाने पर धोखाधड़ी की शिकायत सामने आ रही थी। ये नए नियम अमेजन, फ्लिपकार्ट, स्नैपडील जैसी ई.कॉमर्स साइट्स पर भी लागू होंगे इसमें ई.कॉमर्स साइट्स के लिए कई सख्त प्रावधान भी हैं, नए नियमों के मुताबिक नकली और मिलावटी सामान बेचने वाले को उम्रकैद तक हो सकती है कानून में  उपभोक्ता के मुख्य अधिकार में सुरक्षा का अधिकार,सूचना का अधिकार 

चुनने का अधिकार ,सुने जाने का अधिकार,निवारण का अधिकार ,उपभोक्ता शिक्षा का अधिकार  प्रदान किए है। सुपोषण सखी नीलम प्रजापित ने कहा कि जैसा  आप जानते है हेरा.फेरी से भरा रहा है व्यापार का इतिहास बतौर नागरिक जिस तरह हमें संविधान नागरिकता के अधिकार देता है ठीक उसी तरह खरीदार होने के साथ ही हमारे पास अपने अधिकार भी होते हैं। इसमें सबसे पहला और बड़ा अधिकार है कि उपभोक्ता को दिए गए मूल्य की कीमत का पूरा सामान मिलना उचित मूल्य और शुद्धता इसकी प्रमुख जरूरत है। कार्यक्रम समन्वयक प्रमोद गोयल ने कहा कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम उपभोक्ताओं को उनका अधिकार देने के लिए लागू किया गया है। 

इस अधिनियम के तहत अब कोई भी उपभोक्ता अनुचित व्यापार की शिकायत कर सकता है इसके लिए उन्हें पूरा अधिकार दिया गया है पहले के समय में व्यापारिक लेनदेन में हेराफेरी ज्यादा होती थी जिसको ध्यान में रखते हुए इस अधिनियम को बनाया गया है नए नियमों को कंज्यूमर प्रोटेक्शन ई.कॉमर्स रूल्स 2020 नाम दिया गया है इसमें ऑनलाइन रिटेलर्स को रिटर्न रिफंड प्रॉसेस आसान बनाई गई हैण् ई.कॉमर्स नियम उन सभी ई.रिटेलर्स पर लागू होंगे जो भारतीय कंज्यूमर्स को प्रोडक्ट और सर्विस दे रहे हैं फिर चाहे उनका रजिस्टर्ड ऑफिस भारत में हो या विदेश में हो अमेजन, फ्लिपकार्ट जैसी ई.कॉमर्स साइट्स को कंज्यूमर को हर तरह की जानकारी देनी होगी ।

 कंज्यूमर को बताना होगा कि विक्रेताओं के साथ क्या एग्रीमेंट हुआ।उनका पता क्या है प्रोडक्ट की मैन्यूफैक्चरिंग कहां हुई साथ ही एक्सपायरी डेट पेमेंट गेटवे की सेफ्टी और कस्टमर केयर नंबर भी बताना होगा  कस्टमर्स और विक्रेताओं के साथ किसी तरह का भेदभाव नहीं हो सकेगा कंज्यूमर को वह तरीके बताने होंगे जिससे वे किसी विक्रेता के खिलाफ शिकायत कर सकते हैं उनकी शिकायत की सुनवाई की प्रक्रिया का अपडेट भी उन्हें मिलता रहेगा।अब तक विक्रेताओं की जिम्मेदारी बनती थी लेकिन अब ई.कॉमर्स कंपनियां भी जिम्मेदार होंगी क्योंकि उनके प्लेटफार्म पर दिखाए गए प्रोडक्ट को उनके गेटवे पर भुगतान कर खरीदा गया है, । 

मैदानी अमले द्वारा प्रश्न किए गए जिनका कि जबाब रवि गोयल द्वारा दिया गया। कार्यक्रम में वन स्टोप सेन्टर की प्रशासक कंचन गौड़, शक्तिशाली महिला संगठन के रवि गोयल, प्रमोद गोयल ,पूजा शर्मा, कमलेश , नीलम प्रजापित, वन स्टोप सेन्टर का स्टाफ, सुपोषण सखी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ताए, सहायिकाए, शहर एवं गा्मीण की आशा कार्यकर्ताए एवं न्यूट्रीशन चैम्पियन ने भाग लिया ।

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