दो बच्चो पर स्थायी परिवार नियोजन अपनाने वाली 15 माताओं को पौधा एवम उपहार देकर सम्मान कियाशिवपुरी। बढ़ती जनसंख्या का सबसे मुख्य कारण प्रजनन दर में बढ़ोतरी और मृत्यु दर में कमी को कहा जा सकता है। अगर बात वर्ष 1900 की करें तो उस वक्त दुनिया की आबादी 2 अरब से कम थी। आज की तारीख यानी कि 11 जुलाई को पूरी दुनिया में जनसंख्या दिवस के रूप में मनाया जाता है। साल 1990 से यह सिलसिला लगातार चला आ रहा है। वर्ष 1989 में यूनाइटेड नेशंस डेवलपमेंट प्रोग्राम की गवर्निंग काउंसिल ने 11 जुलाई की तारीख को विश्व जनसंख्या दिवस के तौर पर मनाने का फैसला किया था। इसके बाद से ही हर साल इस दिवस को मनाया जाता है।
दरअसल, बढ़ती जनसंख्या का हमारी धरती के पर्यावरण और विकास पर बहुत असर पड़ता है यह कहना था डॉक्टर पवन जैन सीएमएचओ का ऐसे में अब जरूरत थी कि बढ़ती जनसंख्या और हमारी धरती के पर्यावरण और विकास पर इसका असर क्या होगा, इसपर भी ध्यान दिया जाए। इसी मामले पर पूरी दुनिया को जागरूक करने के लिए जनसंख्या दिवस को मनाने की शुरुआत की गई थी। प्रोग्राम समन्वयक रवि गोयल शक्ति शाली महिला संगठन ने कहा की विश्व जनसंख्या दिवस के अवसर पर शक्ति शाली महिला संगठन द्वारा दिन प्रतिदिन बढ़ती आबादी के बीच जनसंख्या नियंत्रण करके एक एवम दो बच्चो पर स्थाई परिवार नियोजन अपनाया है
ऐसी 15 माताओं को पौधा एवम उपहार देकर मुख्य अतिथि डॉक्टर पवन जैन एवम रवि गोयल ने सम्मानित किया। कार्यक्रम में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता गायत्री कुशवाह, आंगनबाड़ी सहायिका सीमा ओझा, एएनएम भामनी विरथरे, आशा नीतू ओझा, अंजना लोधी, सुपोषण सखी नर्मदा शाक्य, उमा रावत के साथ दो बच्चो वाली माताओं में खुशबू रजक, पूजा रजक, छाया रजक, रानी रजक, पिंकी धाकड़, संतो शाक्य, रेखा बाथम, सुनीता प्रजापति, जूली चिढ़ार, सरोज कुशवाह एवं राधिका जाटव ने सहभागिता की।
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