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Tuesday, March 4, 2025

शिवपुरी के लाल ने कर दिया कमाल, सेसली पार्श्वनाथ मंदिर पर मना स्वर्ग जैसा उत्सव



2 करोड 7 लाख में गई मंदिर के मुख्य स्तंम्भ की बोली

शिवपुरी- राजस्थान प्रदेश के प्रसिद्ध श्री सेसली तीर्थ में भगवान पाश्र्वनाथ मंदिर पर प्रतिष्ठा कार्यक्रम सम्पन्न हुआ। लगातार 9 दिनों तक चलने वाले इस भव्यातिभव्य कार्यक्रम में मुख्य शिखर की बोली 2 करोड 7 लाख रूपये में गई। शिवपुरी मध्यप्रदेश के गौरव गोडवाड नरेश आचार्य चिदानंदसूरीश्वर जी महाराज की पावन निश्रा में सभी कार्यक्रम सम्पन्न हुये। जहां शिवपुरी के लाल(पूज्य मुनिश्री चिदानंद जी म.सा.) ने कमाल करते हुए सेसली पाश्र्वनाथ मंदिर पर आयेाजित प्रतिष्ठा महोत्सव को स्वर्ग जैसा उत्सव मना।  

कलात्मक परिकर से शोभायमान, पदमासन में बिराजमान श्वेत पाषाण से निर्मित श्री सेसली पार्श्वनाथ तीर्थ फालना राजस्थान के सेसली ग्राम से तीनकिलोमीटर की दूरी पर स्थित है प्रत्येक वर्ष कार्तिक सुद 15 और भद्रपदसुद 10 के दिन यहां मेला लगता है। इस तीर्थ का जीर्णेाद्वार शांतिदूत गच्छाधिपति आचार्य विजय नित्यानंद सूरीश्वर जी महाराज साहब के प्रथम शिष्य रत्न गोड़बाड़ केसरी आचार्य चिदानंदसूरी जी महाराज साहब एवं मुनि श्री लक्ष्मी चंद विजय जी महाराज साहब की पावन निश्रा में कराया गया। बीती 17 अप्रेल 2016 को भूमिपूजन एवं 23 अप्रेल को 2016 को शिलान्यास के साथ शुरू हुये इस मंदिर निर्माण की प्रतिष्ठा का ऐतिहासिक कार्यक्रम 23 फरवरी से शुरू होकर 3 मार्च 2025 तक चलने वाले ऐतिहासिक तरीके से कराये गये उक्त प्रतिष्ठा महोत्सव में बाली निवासियों सहित सभी गुरूभक्तों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया, प्रतिष्ठा में लगने वाली बोलियों में मंदिर निर्माण और अन्य कार्यो के लिये करोडों रूपये की राशि एकत्रित हुई, यहां सर्वाधिक बोली मुख्य शिखर को विराजमान करने की लगाई गई जिसे गुरूभक्त बाली अध्यक्ष मीठी मॉ ने 2 करोड 7 लाख में लेकर एक कीर्तिमान सिापित किया।

जानकारी देते हुये प्रतिष्ठा महोत्सव से लौटकर आये लाभचंद जैन एवं संजय सखलेचा ने बताया कि ऐसा ऐतिहासिक महोत्सव
उन्होने आज तक नहीं देखा, जहां देश से ही नहीं विदेश से भी लोगो ने इस कार्यक्रम में हिस्सा लिया। इस प्रतिष्ठा महोत्सव में केवल सेसली ग्राम ही नहीं आसपास के सभी ग्रामों को सजाया गया, बाली ग्राम से लेकर सेसली तक बड़े-बड़े मुख्य द्वार बनाये गये, जिसमें नित्यानंद जी महाराज साहब और चिदानंद जी महाराज साहब के बड़े-बड़े होर्डिंग लगाये गये। बीते 9 दिन चलने वाले उक्त कार्यक्रम में 7 दिन तक पूजा अर्चना के साथ-साथ 1 मार्च को भव्य बरघोडा निकाला गया, 4000 से अधिक लोगो ने इस कार्यक्रम में हिस्सा लिया और भव्यता की प्रशन्सा की। बाली संघ द्वारा उक्त कार्यक्रमों का संचालन करते हुये तन-मन-धन से सहयोग करते हुये इस धार्मिक कार्यक्रम को गरिमा प्रदान की। 

कार्यक्रम में अलग-अलग व्यवस्थाओं के लिये बड़े-बड़े पाण्डाल लगाए गए जिसमें प्रवचन हाल, अतिथि भोजनशाला, प्रदर्शनी कला, रेत कला, हस्त शिल्प और 108 पाश्र्वनाथ भगवान की भव्य झांकी सजाई गई, प्रतिदिन रात्रि में संगीत संध्या के साथ अलग-अलग रंगोली बनाई गई जो आकर्षण का केन्द्र रही। उन्होने बताया कि जिस जगह वह ठहरे थे उस जगह से कार्यक्रम स्थल 10 किमी की दूरी पर था इसके आलावा अलग-अलग जगह भी रूकने के लिये व्यवस्था बनाई गई और 100 से अधिक गाडिय़ा लाने ले-जाने के लिये रखी गई। प्रतिष्ठा के दौरान लगने वाली बोलिया भी करोडो रूपये में गई। प्रतिष्ठा के दिन हेलिकाप्टर से वर्षा करते हुये 5 राउण्ड लगाये गये जो 1 घन्टे तक चला।

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