वरिष्ठ अधिवक्ता विजय तिवारी के द्वारा न्यायालय के समक्ष कराए गए पेशशिवपुरी-शहर के प्रसिद्ध सिद्धिविनायक हॉस्पिटल में भ्रूण हत्या स्टिंग ऑपरेशन में आरोपी बनाए गए आरएमओ डॉ.रहीश खान व नर्स पनूम खान ने तृतीय व्यवहार न्यायाधीश अंशुल मंगल निगम के न्यायालय में आत्मसमर्पण कर दिया।
यहां एड.विजय तिवारी ने न्यायालय परिसर के बाहर मीडिया से चर्चा करते हुए बताया कि डॉ.रहीस खान व उनकी पत्नि पूनम खान को सीजेएम न्यायालय के समक्ष आत्मसमर्पण कराया गया। एड.तिवारी ने बताया कि भ्रूण हत्या मामले में उनका कोई लेना देना नहीं है लेकिन पुलिस ने आरोपी बनाया है तो न्यायालय के समक्ष उपस्थित होकर अपना पक्ष रखेंगें इसलिए समर्पण किया गया है। न्यायालय में इस प्रकरण की सुनवाई होगी जिसमें वीडियो की सत्यता को लेकर न्यायालय देखेगा।
यहां डॉ.रहीस खान की चिकित्सा पद्वति को लेकर एड.विजय तिवारी ने कहा कि एलोपैथी चिकित्सा से उपचार कराने कहीं मना नहीं है आरएमपी डॉक्टर भी इलाज कर सकते है इसकी अनुमति भी सरकार ने दी है, और डॉ.रहीस खान तो क्वालीफाईड डॉक्टर है जिन्हें साढ़े 5 साल के डिग्री होल्डर अनुभव भी है, एलोपैथी से उपचार कर सकते है इसके लिए कहां लिखा है कि वह इलाज नहीं कर सकते, हालांकि इस मामले में धारा 24 आती है जिसमें 6 माह का दण्ड है, एड. विजय तिवारी के अनुसार उन्होंने डॉ.रहीस खान और पूनम को इस मामले में दोषी बताने को लेकर पुलिस की अक्षमता होने की बात कही जिस पर पुलिस ने इन्हें आरोपी बनाया है। हालंांकि अब मामला न्यायालय के समक्ष है और आरोपी बनाए गए दोनों ही आरोपियों के द्वारा न्यायालय के समक्ष समर्पण भी कर दिया गया है।
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