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𝙎𝙝𝙞𝙫𝙥𝙪𝙧𝙞 𝙆𝙝𝙖𝙗𝙖𝙧

Monday, September 28, 2020

आयुक्त ने कोरोना की स्थिति के संबंध में जिलास्तरीय प्रयासों की समीक्षा की


कोरोना उपचार की व्यवस्थाओं और टीम बनाकर कार्य करने के अधिकारियों को निर्देश दिए

शिवपुरी-आयुक्त पी नरहरि ने कोरोना की स्थिति एवं संक्रमण रोकने के लिये जिला स्तर पर किये जा रहे कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि जिले में कोरोना रिकवरी रेट का प्रतिशत बढ़ा है, लेकिन अभी भी सतत् प्रयास किये जाना जरूरी हैं। चिकित्सा महाविद्यालय एवं जिला चिकित्सालय टीम बनाकर कार्य संपादित करें एवं संबंधित अधिकारी कोरोना उपचार की व्यवस्थाओं को सुनिश्चित करें। टूरिस्ट बिलेज के सभागृह में आयोजित बैठक में आज जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी एच.पी.वर्मा, सहायक कलेक्टर श्रीमती काजल जावला, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गजेन्द्र सिंह कंवर, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.ए.एल.शर्मा, जिला चिकित्सालय के अधीक्षक डॉ.पी.के. खरे सहित अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) चिकित्सक उपस्थित थे।

आयुक्त पी नरहरि ने चिकित्सालय में बेड की उपलब्धता, ऑक्सीजन बेड की स्थिति एवं डॉक्टर्स की उपलब्धता की समीक्षा की। जिले में कोविड केयर सेंटर्स में रोगियों के दाखिल होने और स्वस्थ होकर डिस्चार्ज होने की अवधि की भी जानकारी ली। उन्होंने फीवर क्लीनिक के कार्यों पर निरंतर निगाह रखने के निर्देश दिए। उन्होंने तहसील स्तर पर कोविड प्रकरणों की विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने कहा कि अधिकांश स्थानों पर रिकवरी रेट बढ़ा है। कोविड के संबंध में फीवर क्लीनिक बहुत अच्छा काम कर रहे हैं। उन्होंने अभी तक होने वाली टेस्टिंग, किट, मास्क, हाथों में पहनने वाले ग्लब्स की पर्याप्त उपलब्धता की जानकारी ली। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि जिला चिकित्सालय एवं शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय द्वारा कोरोना उपचार में अच्छी सेवाएँ दी जा रही हैं। उन्होंने अभी तक किए जा रहे कार्यों और स्वस्थ हुए मरीजों से मिल रहे फीडबेक के संबंध में जानकारी दी।

ई.दक्ष केन्द्र और शासकीय महाविद्यालय छात्रावास का किया निरीक्षण

पी.नरहरि ने ई.दक्ष केन्द्र पहुंचकर वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से होम आइसोलेशन के मरीजों को दी जाने वाली मेडिकल चिकित्सा सुविधाओं की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने होम आइसोलेशन में भर्ती मरीज गगन कुशवाह से चर्चा कर उनके स्वास्थ्य के संबंध में जानकारी ली। उन्होंने श्री कुशवाह से हॉम आइसोलेशन का समय, स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा की जाने वाली देखरेख, नियमित होने वाली चर्चा, डॉक्टरों द्वारा उन्हें दी जाने वाली सलाह, स्वास्थ्य किट और वह इस व्यवस्था से संतुष्ट है या नहीं इस संबंध में जानकारी ली। उन्होंने अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा संचालित किए जा रहे शासकीय महाविद्यालय छात्रावास का निरीक्षण किया। छात्रावास में उपचारित मरीजों के संबंध में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी से जानकारी ली और निर्देश दिए हैं कि बेहतर ढंग से काम किया जाए।

टेस्टिंग टारगेट पूरा करने के लिये फीवर क्लीनिक की संख्या का निर्धारण जिला स्तर पर

शिवपुरी-प्रदेश में कोरोना टेस्टिंग की गति को बढ़ाने और टारगेट पूरा करने के लिये आवश्यकतानुसार फीवर क्लीनिक की संख्या का निर्धारण जिला स्तर पर किया जायेगा। शहरी क्षेत्र में फीवर क्लीनिक प्रात: 8 बजे से रात्रि 8 बजे तक और ग्रामीण क्षेत्रों में फीवर क्लीनिक प्रात: 9 बजे से शाम 4 बजे तक संचालित किये जायेंगे। सभी फीवर क्लीनिक सप्ताह में सातों दिन चलेंगे।
आयुक्त स्वास्थ्य सेवा ने समस्त जिला कलेक्टर्स, मुख्य चकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी एवं सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षकों को उक्त निर्देश जारी किये हैं। निर्देशों में कहा गया कि प्रत्येक फीवर क्लीनिक की जानकारी सार्थक पोर्टल पर अपग्रेड की जाये। साथ ही जिले में स्थापित डिस्ट्रिक कोविड कमाण्ड सेन्टर पर भी जानकारी उपलब्ध कराना सुनिश्चित किया जाये। सेम्पिलिंग के टारगेट को पूरा करने तथा स्थानीय आवश्यकतानुसार सेम्पलिंग की जरूरत पडऩे पर जिले में मोबाइल सेम्पल कलेक्शन, टेस्टिंग यूनिट भी स्थापित करें। प्रत्येक मोबाइल यूनिट किसी एक फीवर क्लीनिक से संबद्ध हो। ऐसे मोबाइल यूनिट ग्रामीण क्षेत्रों के हाट-बाजारों में तथा शहरी क्षेत्रों की जिन कालोनी में कोविड का प्रभाव अधिक होए वहाँ कैम्प लगाकर सेम्पलिंग का कार्य किया जाये। मोबाइल यूनिट्स में यथासंभव आरएटी को प्राथमिकता दिये जाने और आवश्यकता होने पर आरटीपीसीआर के सेम्पल लिये जाने के निर्देश दिये गये हैं। प्रतिदिन किये जाने वाले आरएटी टेस्ट की संख्या तथा पॉजिटिव प्रकरणों की जानकारी एकत्र कर जिला मुख्यालय में स्थापित नियंत्रण कक्ष को दिये जाने के निर्देश दिये गये। फीवर क्लीनिक पर सेम्पलिंग की व्यवस्था डिमांड ड्रायविन करने के निर्देश दिये गयेए जिसमें इच्छुक व्यक्ति द्वारा चाहे जाने पर उसको टेस्टिंग की सुविधा उपलब्ध कराई जाये। फीवर क्लीनिक पर मलेरिया, डेंगू की जाँच किट भी रखने के निर्देश दिये गये हैं। जिसका उपयोग आवश्यकतानुसार किया जा सके।

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