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𝙎𝙝𝙞𝙫𝙥𝙪𝙧𝙞 𝙆𝙝𝙖𝙗𝙖𝙧

Sunday, September 12, 2021

जागरूक समाजसेवी के द्वारा मुक्तिधाम कायाकल्प करने की अनूठी पहल


शिवपुरी
-जीवन में अंतिम पड़ाव जब आता है तो व्यक्ति को अंतिम संस्कार के लिए मुक्तिधाम ले जाना ही पड़ता है लेकिन यदि मुक्तिधाम में जाकर वहां के हालातों को बदलाव करने का मन यदा-कदा लोगों में ही आता है। ऐसा ही हुआ शहर के इंदिरा कॉलोनी निवासी गजेन्द्र सिंह सोलंकी के साथ जो रहते भले ही शिवपुरी में है लेकिन वह अक्सर नरवर में भी अधिकांश समय गुजारते है जहां उनका पैतृक गांव भी है। 

ऐसे में उनके मन में ख्याल आया कि नरवर का मुक्तिधाम का किस तरह कायाकल्प लिया जाए तो इसे लेकर किसी पर आश्रित होने की आवश्यकता नहीं बल्कि स्वयं से इसकी शुरूआत की जाए। बस इसी बात को लेकर ऐसे जागरूक समाजसेवी गजेन्द्र सिंह सोलंकी के द्वारा नरवर क्षेत्र के मुक्तिधाम का कायाकल्प करने की अनूठी पहल की शुरूआत की गई है जिसे लेकर उन्होंने कार्य भी शुरू कर दिया है। उन्होंने बताया कि नरवर का शमसान घाट जहाँ पर गंदगी का अम्बार है, यहां किसी का अंतिम संस्कार करने बालों को बैठना तो दूर खड़े होने को जगह नहीं है, मुख्य दरवाजे पर कीचड़ है। 

आश्चर्य की बात है कि इस पर अभी तक किसी समाजसेवी, राजनीतिक, मीडिया या नगर परिषद के किसी भी कर्मचारी या अधिकारी का ध्यान नहीं गया। इन हालातों को देखकर उनमें मन में नरवर का मूल निवासी होने के नाते ख्याल आया कि वह इस मुक्तिधाम में बदलाव करने की शुरूआत स्वयं से ही करेंगें, और स्वयं के द्वारा यहां रूककर इस मुक्तिधाम की सफाई और लोगों के बैठने की व्यवस्था का इंतजाम करने के प्रयास शुरू कर दिए गए जिसमें रविवार को स्वयं उनकी ओर से ही एक जेसीबी की सहायता से मुक्तिधाम के आसपास के घने जंगलों को काटा गया और यहां समतल करने का कार्य किया गया। इसके अलावा अब एकाध दिन में वह यहां हरा-भरा वातावरण निर्मित करने के लिए पौधरोपण भी करेगें और उसकी देखभाल भी वह स्वयं करेंगें। इस अनुकरणीय कार्य की स्थानीय नरवरवासियों ने भी भूरि-भूरि प्रशंसा की है।

 

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