शिवपुरी- प्रोग्रेसिव पेंशनर्स एसोसिएशन की जिला शाखा शिवपुरी के तत्वावधान में पेंशनर्स दिवस के उपलक्ष में स्थानीय 14 नंबर कोठी के पास गांधी मार्केट स्थित कार्यालय में एक संक्षिप्त कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ सर्वोच्च न्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश परम बाय.बी.चंद्रचूड़ के चित्र पर माल्यार्पण कर प्रारंभ किया गया। तत्पश्चात प्रोग्रेसिव पेंशनर्स एसोसिएशन की जिला शाखा शिवपुरी के अध्यक्ष अशोक कुमार सक्सेना द्वारा पेंशनर्स दिवस के महत्व पर प्रकाश डालते हुए बताया कि वर्ष 1979 में केंद्र सरकार द्वारा 31 मार्च 1979 से केंद्र एवं राज्य सरकार के सभी पेंशनर्स की पेंशन को समाप्त करने का निर्णय पारित किया गया था,
इस निर्णय के विरुद्ध राजस्थान निवासी डी.एस.नकरा ने लॉयर कोर्ट से लगाकर सर्वोच्च न्यायालय तक लड़ाई लड़ी थी, 17 दिसंबर 1982 को श्री डी.एस.नकरा द्वारा दायर रिट पिटिशन रिट पर सर्वोच्च न्यायालय के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश महोदय बाय.बी.चंद्रचूड़ द्वारा द्वारा अपने ऐतिहासिक फैसले में लिखा गया कि पेंशन किसी भी शासकीय सेवक की जिंदगी भर शासन की सेवाएं करने का प्रतिफल है यह कोई उपहार नहीं है, इसे समाप्त नहीं किया जा सकता। तब से ही 17 दिसंबर 1982 के बाद से संपूर्ण भारत में 17 दिसंबर को पेंशनर्स दिवस के रूप में मनाया जाता है।
बैठक में सर्वसम्मति से शिवपुरी जिले की स्वयं शासकीय सेवा करने के उपरांत सेवानिवृत हुई लगभग 150 महिला पेंशनर्स का सम्मान समारोह आयोजित करने का निर्णय लिया गया। महिला सम्मान समारोह के इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि केन्द्रीय दूरसंचार एवं पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया होगें। कार्यक्रम में प्रोग्रेसिव पेंशनर्स एसोसिएशन के सहयोगी व सलाहकार इंजी पवन जैन, जिलाध्यक्ष अशोक सक्सेना, महिला अध्यक्ष श्रीमती सपना गुप्ता, संरक्षक मंडल के सदस्य डॉ एलडी गुप्ता, व्ही.डी.शुक्ला, आरडी शर्मा, आर के भटनागर, हरि बल्लभ शर्मा, एम.एस.द्विवेदी, शिवनारायण वर्मा, कार्यकारी अध्यक्ष, आर.के.गुप्ता उपाध्यक्ष, प्रदीप लक्ष्यकर, कैलाश रघुवंशी, एम.एस.करारे, गिरीश मिश्रा कोषाध्यक्ष, हरिदास माहौर संगठन मंत्री, द्वारका प्रसाद शर्मा प्रचार मंत्री, अशोक नीखरा एवं हरिओम शर्मा, धीरज सिंह गौर आदि पेंशनर उपस्थित थे।


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